नारी तू सबला है
बच्चों की सेवा करती हो तो क्या
पति की बाते सुनती हो तो क्या
नारी तू सबला है
दिन रात घर में खटती हो तो क्या
कई बार टुकड़ों में बटती हो तो क्या
नारी तू सबला है
सास के ताने सुनती हो तो क्या
हर वक़्त बातों के तीर सहती हो तो क्या
नारी तुम सबला हो
बच्चे तुम्हारी ममता को नहीं पहचानते तो क्या
सब के बीच पति के व्यंग्य का शिकार होती हो तो क्या
नारी तू सबला है
कभी अपने मन की ना सुनना
किसी कोने में बैठी आंसू बहाएगी तो सच में
अबला हो जाएगी
चुपचाप सब सह जाना जवाब मत देना
वरना सब के सामने मजाक बन जाएगी
मत सोच तू क्या है
अबला है या सबला
अपना धर्म निभाये जा चुप से
लेकिन मन को कमज़ोर मत होने देना कभी
वरना सच में अबला हो जाओगी
नारी तू सबला है
सब के सामने तू सबला से अबला कभी मत बनना
नारी तू सबला है
ReplyDeleteसत्य कथन
हाँ नारी तू सबला है
और तू नहीं तो ये जगत नहीं।
आभार अभी बेटे
Deleteसत्य वचन......बहुत सुन्दर
ReplyDeleteआभार अना जी
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